Sharad purinima by Dr. indu kumari

 शीर्षक--शरद पूर्णिंमा

Sharad purinima by Dr. indu kumari


 पूनम की रात आई

प्रेम की बरसात लाई

राधा संग मिल गोपियां

कान्हा संग रास रचाई

धरा अनुपम सौन्दर्य है

चाँद ने चाँदनी फैलाई

सोलहो श्रृंगार कर प्रकृति

सजी दुल्हन-सी लगती है

शरद  की   शीतलताई

चरमोत्कर्ष पर होती है

इनकी रौशनी में है जादू

समुन्द्र में ज्वार भाटा से

उफानें भर-भर जाती है

शरद की चाँदनी हितकारी

नेत्र की ज्योति बढा़ती  है

खीर आज औषधि युक्त हो

जाती,अमृत वर्षा  होती है

शरद सौगातें मिलन की लाई

पूनम की रात आ ई  है

प्रेम की बरसात लाई है।

डॉ .इन्दुकुमारी
            मधेपुरा बिहार

पिन-8521ौ3

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