Suhagin by Anita Sharma

November 07, 2021 ・0 comments

सुहागिन

Suhagin by Anita Sharma


चेहरे पर मुस्कान बताती

आल्हादित मन झूम रहा।

सदा सलामत रहे खुशियाँ 

दुआ यही ईश्वर से मेरी।

चेहरे पर मुस्कान रहे हमेशा

आंखो में चमकती सुन्दरता।

होठों पर दमकते मोती हो

पलकों में सजती शर्म-हया।

गहनों में लिपटा नूर रहे

मुस्कुराती यौवन छटा रहे।

सौम्यता मनमोहक झलके

खुशियाँ दामन में महके ।

ईश्वर की सुन्दर मूरत हो

साजन की प्रेम कहानी हो।

ये प्यार महकता रहे सदा

साजन बांहो का आलिंगन हो।

सुहागन मन चाहे सजना

साथ हमेशा सजना जी हो।

करवा चौथ पर चाँद दिखे

घर के आँगन में चाँद रहे।

सुहागन का सिन्दूर माँग पर

और गले में मंगल-सूत्र सजे ।

माथे पर सिन्दूरी बिन्दिया हो

चेहरे पर मुस्कान हमेशा हो।

पैरों में बिछिया पायल हो

पायल की रून-र झुन बोले।

दिल में सजना जी रहे सदा

कंगना चूड़ी खनक कर बोले

राज दिलों के ये खोले ।

प्यार का नव रूप सुहाना हो

सोलह शृंगार तुम्हारा हो।

एक चाँद आसमान पर सजे

एक चाँद तुम्हारे पास रहे ।।

---अनिता शर्मा झाँसी
---मौलिक रचना

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