Bharosa khud ka by Dr. indu kumari
October 08, 2021 ・0 comments ・Topic: poem
भरोसा खुद का
तुझमें बहुत सी ताकत है
जीवन से लड़ना सीखो
आती है ढेर समस्या पर
निपटना भी विवेक से
भागना शोभा देता नहीं
सच्चाई का सामना करे
रफुचक्कर हो जाएगी
आजमा कर देख लेना
जिन्दगी है अनमोल धन
यूं नहीं जाया करते
खुद पर भरोसा रखो
मंजिल तो मिलकर रहेगी
धैर्य की नाविक बनकर
सुख का सवेरा देखा कर
आएगी वह पल इन्तजार
कर खुद भरोसा रख कर।
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